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नगर निगम जयपुर ; कावड़ यात्रियों के रास्ते में और शिव मंदिरों के पास मीट की बिक्री बंद।

जयपुर में नगर निगम (ग्रेटर) ने मीट की दुकानों के बाहर हलाल या झटका लिखना अनिवार्य किया है। निगम की ओर से जारी आदेश में कहा गया कि ऐसा नहीं करने पर कार्रवाई की जाएगी। निगम खुले में मीट बेचना भी प्रतिबंधित किया है। महापौर सौम्या गुर्जर ने बताया कि जहां लोग रहते हैं, उसके आसपास मीट की मंडी नहीं होनी चाहिए। निगम ने तय किया है कि अब उन्हीं मीट दुकानों को लाइसेंस दिया जाएगा, जिनके पास दुकान का पट्टा होगा। कावड यात्रा मार्गों की पवित्रता का भी ध्यान रखा जाएगा। इस मार्ग पर और शिव मंदिरों के निकट खुले में मीट बिक्री नहीं होने दी जाएगी।

नगर निगम ने लिया मीट बिक्री पर एक्शन –


jaipur नगर निगम ने सावन के पवित्र महीने तथा कावड़ यात्रा के चलते मीट बिक्री पर निर्णय लिया है। मंदिरों के आस पास तथा कावड़ यात्रियों के रास्ते में मीट बिक्री पर नगर निगम द्वारा रोक लगायी गई। यह कदम सावन मास और कावड़ यात्रा की पवित्रता को देखते हुए लिया गया है।

केवल व्यावसायिक पट्टे वाले मीट की बिक्री कर सकेंगे-


नगर निगम जयपुर ने यह निर्णय लिया है कि केवल जिन लोगो के पास व्यवसायिक पत्ता है केवल वो लोग ही मीट की बिक्री खुले में कर सकते है। नगर निगम के इस निर्णय के बाद खुले में मीट बिक्री में कमी देखी जाएगी एवं सावन मास में पवित्रता का महोल भी निरंतर बना रहेगा।

महापौर सौम्या गुर्जर का बयान –

निगम खुले में मीट बेचना भी प्रतिबंधित किया है। महापौर सौम्या गुर्जर ने बताया कि जहां लोग रहते हैं, उसके आसपास मीट की मंडी नहीं होनी चाहिए। निगम ने तय किया है कि अब उन्हीं मीट दुकानों को लाइसेंस दिया जाएगा, जिनके पास व्यावसायिक पट्टा होगा। कांवड़ यात्रा मार्गों की पवित्रता का भी ध्यान रखा जाएगा। शिव मंदिरों के निकट खुले में मीट की बिक्री नहीं होने दी जाएगी।

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